शनिवार, 19 जून 2010

बने नया कानून........


पिछले कुछ समय से समाज के कुछ लोग और नक्सलवादी तोड़फोड़ पर अधिक जोर दे रहे हैं। इनसे राष्ट्र और समाज का नुकसान ही होता है।नक्सलवादी रेल पटरियों को उड़ा देते हैं,जिससे जान माल की हानि तो होती ही है वरन जनता को उन सुविधाओं से कुछ समय के लिए वंचित रहना पड़ता है। मणिपुर में नागा छात्र समूह ऐसा ही राष्ट्र विरोधी कार्य कर रहे हैं। उन्होंने राजमार्गों पर वाहनों की आवाजाही रोक रखी है।इससे वहां दैनिक उपभोग की वस्तुओं का अकाल हो गया है। पेट्रोल और रसोई गैस मनमाने दामो पर बिक रहे हैं।
पिछले दिनों जाट समुदाय ने आरक्षण की मांग को लेकर पानी के बेराज पर धावा बोल दिया। कुछ उग्र लोगों ने बैराज के गेट बंद कर दिए,जिससे राजधानी दिल्ली में दो दिन तक पानी की आपूर्ति बाधित रही।
आज के भारत में इस तरह के उग्रवाद की घटनाएँ देश के विकास में एक रोड़ा हैं। सरकार को तुरंत एक नया कानून बनाना चाहिए जिसमे इस तरह से देश की सार्वजनिक सम्पति को नुकसान पहुँचाने वालों को उम्रकैद का प्रावधान हो। इस उग्रवाद को देशद्रोह माना जाये। .................................................सानु मार्गदर्शक

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